Shivpuri News: खेत में दवा छिड़कने नहीं गया तो जूते में भरकर पिलाई पेशाब, मामले की जांच में जुटी पुलिस
जानकारी के अनुसार ग्राम बगेदरी निवासी राजेश पुत्र सुल्तान जाटव उम्र 32 साल से 14 जुलाई को शाम करीब 6:00 बजे गांव के रामसिंह ठाकुर निवासी करैरा ने उसे रास्ते में रोककर कहा कि वह उसे खेत पर दवाई छिड़कने क्यों नहीं आया। इस पर राजेश ने उससे 500 रुपये मजदूरी की मांग की।
Shivpuri News: खेत में दवा छिड़कने नहीं गया तो जूते में भरकर पिलाई पेशाब, मामले की जांच में जुटी पुलिस
लोगों ने आरोप लगाया की चक्काजाम करने के बाद पुलिस ने सिर्फ मारपीट की धाराओं में की एफआइआर
विवेचना में जो भी तथ्य सामने आएंगे उनके आधार पर कार्रवाई की जाएगी
14 जुलाई को शाम करीब 6:00 बजे हुआ था ये हादसा
नईदुनिया न्यूज, करैरा। करैरा थानांतर्गत ग्राम बगेदरी में भीम आर्मी के पदाधिकारियों ने गांव के एक ठाकुर पर दलित को जूते में पेशाब भरकर पिलाने का आरोप लगाया है। पुलिस पर आरोप है कि उचित धाराओं में कार्रवाई नहीं की है और जो एफआइआर दर्ज की गई है, वह भी रोड पर चक्काजाम करने के बाद की गई।
राजेश का आरोप है कि इसके बाद रामसिंह ठाकुर ने उसे गालियां दीं तो वह वहां से घर की तरफ भाग आया, बाद में रामसिंह ने उसे उसके घर के दरवाजे पर लाठियों से मारापीटा और जूते में पेशाब भरकर पिलाई। पीड़ित पक्ष का आरोप है कि 15 जुलाई को जब वह थाने पहुंचे तो पुलिस ने उनकी एफआइआर दर्ज नहीं की, अंतत: उन्हें सड़क पर चक्काजाम करना पड़ा, तब कहीं जाकर पुलिस ने देर शाम मामले में धारा 126(2), 332,115(2),296,351 (3) बीएनएस 3 (1) (द), 3 (1) (ध), 3 (2) (व्हीए) एससी/एसटी एक्ट का कायम किया, परंतु पीड़ित को मूत्र पिलाने के संबंध में जो धाराएं लगनी चाहिए थीं, वह नहीं लगाई गई हैं।
भीम आर्मी ने मंगलवार को एसडीएम को ज्ञापन सौंप कर उचित धाराओं में एफआइआर दर्ज करने सहित आरोपित की गिरफ्तारी की मांग की है। मूत्र पिलाने के आरोप पूरी तरह से निराधारइस संबंध में करैरा थाना प्रभारी विनोद छावई का कहना है कि मूत्र पिलाने संबंधी आरोप पूर्णत: निराधार हैं।
प्रारंभिक जांच में तो यह सामने आया है कि गांव में एक महिला से छेड़छाड़ किए जाने के बाद परिहार समाज के लोगों ने मारपीट की थी और परिहार समाज के लोग रामसिंह ठाकुर के यहां पर काम करते हैं। आगे विवेचना में जो भी तथ्य सामने आएंगे उनके आधार पर कार्रवाई की जाएगी।
सौजन्य : नई दुनिया
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